प्रशासनिक सेटअप
सीतामढ़ी बिहार के तिरहुत प्रमंडल का एक जिला है। वर्तमान में सीतामढ़ी में तीन अनुमंडल तथा 17 प्रखंड हैं। सीतामढ़ी का जिला 11 दिसंबर 1972 को मुजफ्फरपुर जिले से बना था। यह बिहार के उत्तरी भाग में स्थित है। इसका मुख्यालय डुमरा में स्थित है, सीतामढ़ी से पांच किलोमीटर दक्षिण की दूरी पर है। जनवरी 1934 में सीतामढ़ी के सबसे बुरे भूकंप में से एक में तबाह हो जाने के बाद जिला मुख्यालय को यहां स्थानांतरित कर दिया गया था। पुरे जिले में कुल 845 राजस्व गांव हैं ।
जिलाधिकारी एवं समाहर्ता :
जिलाधिकारी एवं समाहर्ता को जिले में तैनात किया जाता है जो कि जिला के राजस्व और नागरिक प्रशासन का सबसे उच्च अधिकारी होते हैं एवं अक्सर आई.ए.एस कैडर के होते हैं । जिलाधिकारी जिले में विकास और कल्याण कार्यों का संचालन करते हैं । ए.डी.एम ( अपर समाहर्ता ) और अन्य अधिकारियों को डीएम की सहायता के लिए पोस्ट किये जाते हैं। सीतामढ़ी जिला को सदर, पुपरी एवं बेलसंड नामक तीन अनुमंडलों में विभाजित किया गया है जिनमे अनुमंडल पदाधिकारियों का पदस्थापन किया जाता है । अनुमंडल पदाधिकारी के रूप में अक्सर आई . ए . एस . अथवा बिहार प्रशासनिक सेवा के अधिकारी होते हैं । ये जिला पदाधिकारी के प्रत्यक्ष नियंत्रण में होते हैं | इन तीन अनुमंडलों को 17 प्रखंड में विभाजित किया गया है । इन प्रखंडों में बी.डी.ओ. पोस्ट किए गए हैं जिनपर विकास और कल्याणकारी परियोजनाओं को लागु करने की जिम्मेदारी होती है । सीतामढ़ी जिले में 845 गाँव हैं ।
पुलिस अधीक्षक:
जिले में 21 पुलिस स्टेशन हैं । पुलिस अधीक्षक, सीतामढ़ी जिला पुलिस प्रशासन के प्रमुख होते हैं , ये अधिकारी मुख्यतः भारतीय पुलिस सेवा के होते हैं । इनके अधीन पुलिस उपाधीक्षक , पुलिस निरीक्षक एवं थाना प्रभारी की नियुक्ति की जाती है । इन सब के अधीन पुरे जिले की विधि व्यवस्था के जिम्मेदारी होती है ।
न्यायिक प्रशासन:
न्यायाधीश और मुंशीफ मजिस्ट्रेटों को तैनात किया जाता है जिला और उप-विभाजन जो विभिन्न प्रकार के न्याय और प्रशासन प्रदान करते हैं। जिला न्यायपालिका भारतीय न्यायिक प्रणाली का हिस्सा है जैसा कि भारतीय में परिकल्पित है संविधान और जिला प्रशासन से स्वतंत्र।